जाने क्यों दही है सही
दही, जिसे योगर्ट भी कहा जाता है, भारतीय आहार का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह न केवल स्वाद में लाजवाब है, बल्कि सेहत के लिए भी अत्यंत लाभकारी है। दही में प्रोटीन, कैल्शियम, विटामिन बी12, पोटेशियम और मैग्नीशियम जैसे पोषक तत्व प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं।दही के लाभ जिन लोगों को पेट की परेशानियां जैसे- अपच, कब्ज, गैस जैसी बीमारियाँ घेरे रहती हैं, उनके लिए दही या उससे बनी लस्सी, मट्ठा, छाछ का उपयोग करने से आंतों की दूर हो जाती है।
दही के प्रमुख स्वास्थ्य लाभ:
पाचन में सुधार: दही में मौजूद प्रोबायोटिक्स आंतों के स्वास्थ्य को बेहतर बनाते हैं, जिससे पाचन क्रिया सुचारू रहती है और कब्ज जैसी समस्याओं में राहत मिलती है।
रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाना: दही का नियमित सेवन इम्यून सिस्टम को मजबूत करता है, जिससे शरीर बीमारियों से लड़ने में सक्षम होता है।
हड्डियों और दांतों की मजबूती: दही में उच्च मात्रा में कैल्शियम होता है, जो हड्डियों और दांतों को मजबूत बनाने में सहायक है।
त्वचा और बालों के लिए फायदेमंद: दही का उपयोग त्वचा की नमी बनाए रखने और बालों को पोषण देने में किया जा सकता है, जिससे त्वचा में निखार और बालों में चमक आती है।
दही को आहार में शामिल करने के लिए रेसिपीज़:
दही जमाने के लिए टिप्स:
- सर्दियों में, दही जमाने के लिए बर्तन को किसी गर्म कपड़े में लपेटकर रखें या ओवन में (बिना चालू किए) रखें, ताकि उचित तापमान बना रहे।
- यदि आपके पास जामन नहीं है, तो आप लाल मिर्च के डंठल का उपयोग कर सकते हैं। इसके लिए, गुनगुने दूध में साबुत लाल मिर्च का डंठल डालकर ढक दें और 8-10 घंटे के लिए रख दें।
- १ चम्मच दूध पाउडर मिलाने से दही बिलकुल चक्का बनती है
दही का सेवन करते समय सावधानियाँ:
हालांकि दही स्वास्थ्य के लिए लाभकारी है, लेकिन कुछ स्थितियों में इसका सेवन सावधानीपूर्वक करना चाहिए:रात में दही का सेवन: आयुर्वेद के अनुसार, रात में दही का सेवन नहीं करना चाहिए, क्योंकि यह बलगम बढ़ा सकता है और पाचन को प्रभावित कर सकता है।
दही के साथ मछली का सेवन: दही और मछली का एक साथ सेवन आयुर्वेद में वर्जित माना गया है, क्योंकि यह पाचन समस्याओं और त्वचा रोगों का कारण बन सकता है।
दही का नियमित और सही मात्रा में सेवन आपके स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी हो सकता है।